माँ की चुदाई

अपनी माँ को गले लगाया

Apni maa ko gale lagaya

हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम राजकुमार है और में बैंगलोर का रहने वाला हूँ और अभी बी.एस.सी IIIrd ईयर में हूँ. अब में मेरी इस स्टोरी में मेरी माँ के बारे में बताने जा रहा हूँ, मेरी माँ का नाम सुमित्रा है और मैंने मेरी माँ के बारे में कभी भी ग़लत नहीं सोचा था.

जब यह हादसा हुआ जब से वो मेरी माँ नहीं बल्कि मेरी पत्नी है, मेरी माँ 38 साल की है और में 20 साल का हुआ था और जब यह हादसा हुआ तब में 18 साल का था. मेरी माँ विधवा है, वो सिर्फ़ 4 महीने ही मेरे बाप के साथ रही थी, यानि मैंने अपने बाप का मुँह तक भी नहीं देखा था. फिर मेरी माँ को पापा के घरवालों ने बाहर कर दिया तो मेरी माँ को पापा की सारी जायदात मिली और हम इसी पैसे से सुखी है. मेरी माँ के बूब्स तो बहुत अच्छे है और वो रोज़ योगा करती है और वो इसी से अपने फिगर को मैनटेन करती है. में जब 10वीं क्लास में था तो जब यह हादसा हुआ था.

फिर एक दिन में मेरी बुक घर पर ही छोड़कर गया था और उसी दिन मुझे उस बुक को जमा करना था तो में एक घंटे बंक करके घर आया तो माँ दरवाजा लॉक किया था.

मैंने समझा कि माँ बाहर गयी होगी इसलिए मैंने अपनी चाबी से दरवाजे को खोला और मेरे रूम गया तो तब मुझे माँ के रूम से कुछ आवाज सुनाई दी तो मैंने दरवाजे में चाबी के छेद से अंदर देखा, तो मेरी माँ और मेरी माँ का भाई दोनों नंगे सोए थे. अब में यह सब देखकर शॉक हो गया था, मेरा मामा 10 साल के बाद एक हफ्ते के लिए बैंगलोर में आया हुआ था, उसकी पूरी फेमिली दुबई में है और उसकी बातों से साफ़ पता चल रहा था कि मामा मेरी माँ के साथ सोने के लिए आया था. फिर उसके बाद में सीधा स्कूल चला गया और माँ के बारे में सोचने लगा.

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फिर एक हफ्ते के बाद मैंने माँ से सब पूछने का प्लान किया. अब में मेरे मन में माँ को चोदने के बारे में सोचने लगा था. फिर मैंने माँ से बोला कि आज में आपके साथ सोऊँगा, तो माँ ने ओके बोला, तो में खुशी से झूम उठा आज रात से मेरी माँ मेरी पत्नी बनेगी और फिर डिनर के बाद माँ और में सो गये. अब रात के 12 बजे थे, फिर मैंने मेरा एक हाथ धीरे से माँ के बूब्स पर रखा और धीरे दबाने लगा. फिर थोड़ी देर के बाद मैंने मेरी माँ की साड़ी को थोड़ा ऊपर किया और उनकी चूत पर अपना एक हाथ लगाया, तो तभी माँ बोली.

माँ :- क्या कर रहे हो तुम होश में तो हो ना?

में :- हाँ, में होश में हूँ में सब कुछ जानता हूँ.

माँ :- क्या जानते हो?

में :- तेरा और मामा का संबंध.

तो तब माँ रोने लगी और मैंने माँ के पास जाकर कहा

में :- क्यों ऐसा करती हो?

माँ :- मुझे माफ करना बेटा, मैंने तेरे बाप के साथ सिर्फ़ 2 महीने ही किया था और उसके बाद में केले को उपयोग करती थी. फिर एक दिन में जब केले से मज़ा ले रही थी, तो तब मेरा भाई आया और हम दोनों ने खूब अच्छी तरह से मज़ा लिया, वो भी कुछ दिन के लिए. फिर अब एक हफ्ते पहले ही हम दोनों मिले थे.

में :- आज से तुम ये सब छोड़ देना ना केला, ना मामा, सिर्फ़ में.

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माँ :- क्या?

में :- आज से में तेरा पति हूँ.

फिर मैंने माँ को गले लगाया तो माँ ने मुझको एक किस दिया. फिर माँ एक चैन लाई और कहा कि आज से आप ही मेरे पति है, यही हमारा मंगलसूत्र है. फिर मेरी माँ ने मेरे लंड को अपने हाथ में लिया और अपने मुँह में लेकर आइसक्रीम की तरह चूसने लगी. फिर थोड़ी सी देर में मेरा पानी निकल गया, तो माँ बोली कि अरे तेरा तो बहुत जल्दी निकल गया और फिर वो मेरे लंड के पानी को पीने लगी, लेकिन फिर भी माँ ने मेरे लंड को अपने मुँह में लिया था.

फिर मैंने माँ के ब्लाउज को निकाला और उनकी ब्रा को भी निकाला, तो मुझे सुमित्रा (माँ) के गोरे-गोर बूब्स दिखाई दिए और फिर में सुमित्रा के बूब्स को पीने लगा. फिर थोड़ी देर के बाद माँ ने कहा कि अभी भी पूरी लाईफ है अभी सब ख़त्म नहीं करना है.

फिर मैंने सुमित्रा को पूरा नंगा किया और में लाईफ में पहली बार एक औरत को नंगा देख रहा था. फिर हम दोनों 69 की पोज़िशन में आ गये और अब सुमित्रा मेरे पूरे लंड को अच्छी तरह से चूसने लगी थी और ओ आहहहहह करने लगी थी. फिर थोड़ी के बाद सुमित्रा ने अपनी चूत के अंदर मेरे लंड को डाला और फिर मुझको नीचे ऊपर करने को कहा तो थोड़ी देर में मेरा पानी निकल गया. फिर उस दिन हमने रात को 4 बार सेक्स किया. अब सुमित्रा बहुत खुश थी और आज भी खुश है और कल भी खुशी से रहेगी.