शादी में मिली लड़की की चूत और गांड चुदाई
ये कहानी उस रात की है जब मैं अपने दोस्त की शादी में गया था। परसों की बात है, मैंने पिंक शर्ट और ब्लैक पैंट पहनी थी, और यकीन मानो, मैं उस दिन किसी हीरो से कम नहीं लग रहा था। मेरे बाल परफेक्ट सेट थे, परफ्यूम की खुशबू हवा में तैर रही थी, और मेरी स्माइल? वो तो किसी का भी दिल चुरा ले! शादी का माहौल था, चारों तरफ रौनक, लाइट्स की चमक, और ढोल की थाप। मैं अपने दोस्त को गिफ्ट देकर खाना खाने की सोच रहा था, लेकिन किसे पता था कि उस रात मेरा दिल और कुछ और ही खाने का मन करेगा।
जब मैं शादी में अपने दोस्तों के साथ मस्ती कर रहा था, तभी मेरी नजर एक हसीना पर पड़ी। वो थी कामना। लाल लहंगे में वो किसी अप्सरा से कम नहीं लग रही थी। उसकी आँखों में वो नशीली चमक, होंठों पर हल्की सी स्माइल, और वो कातिलाना अंदाज़—मेरा तो दिल धड़कने लगा। मैं अपने दोस्त से बात कर रहा था, लेकिन मेरी आँखें बार-बार उसकी तरफ खिंच रही थीं। तभी अचानक वो मुझसे टकराई। वो गिरने वाली थी, लेकिन मैंने उसे अपनी बांहों में थाम लिया। उसका मुलायम बदन मेरे हाथों में था, और उसकी सांसें मेरे करीब। मैंने पूछा, “कहीं लगी तो नहीं?” उसने हल्के से सिर हिलाया और कहा, “नहीं, थैंक यू!” उसकी आवाज़ में वो मिठास थी कि मैं तो बस खो सा गया।
मैंने हल्का सा मजाक किया, “आप यहीं की हो क्या?” उसने हंसते हुए कहा, “हाँ, और तुम? तुम तो कहीं देखे-देखे से लगते हो।” मैंने भी मस्ती में कह दिया, “अरे, मैं तो दिल्ली की फेमस पर्सनालिटी हूँ, बेबी!” वो हंस पड़ी, और उसकी हंसी ने मेरे दिल में आग सी लगा दी। हमने एक-दूसरे को देखकर स्माइल पास की, और फिर वो अपनी फ्रेंड्स के पास चली गई। वो बार-बार पलटकर मुझे देख रही थी, और मैं भी उसे। मेरे दोस्त ने चिढ़ाते हुए कहा, “यार, लगता है ये माल तुझ पर लट्टू हो गई!” मैंने भी हंसकर कहा, “भाई, आज तो सेटिंग पक्की है।”
मैंने उसे इशारा किया कि बाहर मिलो। उसने भी पलक झपकते हुए ओके कहा और मुस्कुराते हुए बाहर चली गई। मैं दो मिनट बाद उठा और बाहर गया। वहाँ वो खड़ी थी, लाल लहंगे में और भी हॉट लग रही थी। मैंने कहा, “हाय, तुम्हारा नाम?” उसने जवाब दिया, “कामना। और तुम्हारा?” मैंने अपना नाम बताया, और फिर हमारी बातें शुरू हुईं। बातों-बातों में मैंने उससे कहा, “कामना, मैं तुम्हें किस करना चाहता हूँ।” वो थोड़ा शरमाई, लेकिन उसकी आँखों में वो चुलबुलापन था। उसने कहा, “अरे, इतनी जल्दी?” मैंने कहा, “बेबी, मौका है, फिर क्या पता मिले ना मिले।” वो मेरी बात से सहमत हुई और बोली, “ठीक है, लेकिन कहाँ?”
मैंने कहा, “ऊपर चलो, वहाँ कोई नहीं आता।” हम दोनों नजरें बचाते हुए सीढ़ियों से ऊपर गए। वहाँ एक कोने में हम रुक गए। मैंने उसे अपनी बांहों में भर लिया, और बिना देर किए उसके रसीले होंठों पर अपने होंठ रख दिए। वो भी मेरा साथ देने लगी। उसके होंठ इतने नरम थे कि मैं तो बस खो गया। मैं उसके होंठ चूस रहा था, और वो मेरे। मेरे हाथ उसकी कमर से होते हुए उसकी गांड तक गए, और मैं उसे धीरे-धीरे मसलने लगा। वो मेरे बदन को सहलाते हुए सिस्कारियां ले रही थी, “आह… ऊंह… ऊम्ह…”
मैंने उसका टॉप ऊपर किया और उसकी ब्रा को सरकाकर उसके गोल-मटोल दूध बाहर निकाले। वो इतने मुलायम और रसीले थे कि मैं खुद को रोक न सका। मैंने एक दूध अपने मुँह में लिया और चूसने लगा। वो सिस्कारियां ले रही थी, “आह… ऊंह… ऊम्ह… और चूसो…” मैं बारी-बारी से दोनों दूध चूस रहा था, कभी मसल रहा था, और वो मेरे सिर पर हाथ फेरते हुए मजे ले रही थी। उसकी सिस्कारियां मुझे और जोश दिला रही थीं।
फिर मैंने अपनी पैंट की ज़िप खोली और अपना लंड बाहर निकाला। वो नीचे झुकी और मेरे लंड को अपने नरम हाथों में लिया। उसने पहले उसे हिलाया, फिर अपनी जीभ से चाटना शुरू किया। उसकी गर्म जीभ मेरे लंड पर फिसल रही थी, और मैं सिस्कारियां ले रहा था, “आह… ऊंह… ऊम्ह…” वो मेरे लंड को चाटकर गीला कर रही थी, और मेरे अन्टोलो को भी सहला रही थी। फिर उसने मेरे लंड को अपने मुँह में लिया और सुपाड़े को चूसने लगी। मैं तो सातवें आसमान पर था। उसने मेरे लंड को पूरा मुँह में लिया और चूसने लगी। मैं उसके मुँह को चोद रहा था, और वो “आह… ऊंह… ऊम्ह…” की आवाज़ें निकाल रही थी।
मैंने उसकी जीन्स उतारी और उसकी पैंटी नीचे खिसकाई। उसकी चूत इतनी गीली और गुलाबी थी कि मैं खुद को रोक न सका। मैंने उसकी टांगें खोलीं और उसकी चूत पर अपनी जीभ रख दी। वो सिहर उठी और सिस्कारियां लेने लगी, “आह… ऊंह… ऊम्ह… चाटो ना…” मैं उसकी चूत को चाट रहा था, अपनी जीभ अंदर तक डालकर। वो मेरे सिर को अपनी चूत पर दबा रही थी। फिर मैंने अपनी उंगली से उसकी चूत को चोदना शुरू किया, और वो और जोर से सिस्कारियां लेने लगी।
मैंने उसे झुकाया और अपने लंड को उसकी चूत पर रगड़ा। फिर धीरे से अंदर डाल दिया। वो “आह…” की आवाज़ के साथ मजे लेने लगी। मैं धीरे-धीरे शॉट मार रहा था, और वो अपनी गांड आगे-पीछे करके मेरा साथ दे रही थी। मैं उसके दूध मसल रहा था, और वो सिस्कारियां ले रही थी, “आह… ऊंह… ऊम्ह… और जोर से…” मैंने अपनी रफ्तार बढ़ाई और जोर-जोर से शॉट मारने लगा। वो चीख रही थी, “आह… ऊंह… ऊम्ह… चोदो मुझे…”
जब मेरा माल झड़ने वाला था, मैंने पूछा, “कहाँ गिराऊँ?” उसने कहा, “मेरे दूध पर…” मैंने अपना लंड बाहर निकाला और मुट्ठ मारते हुए अपना सारा माल उसके दूध पर झाड़ दिया। वो हांफ रही थी, और मैं भी। हमने अपने कपड़े ठीक किए और नीचे पार्टी में वापस आ गए। हमने नंबर एक्सचेंज किए, और मैं अपने दोस्त के पास गया। उसने कहा, “कहाँ था, भाई?” मैंने हंसकर कहा, “बस, थोड़ा मस्ती कर रहा था।”
खाना खाने के बाद मैंने कामना को कॉल किया और कहा, “मैं जा रहा हूँ।” उसने कहा, “बाय, आई लव यू…” मैंने भी कहा, “लव यू, जान।” रात को सोने से पहले उसका कॉल आया। उसने कहा, “यार, मैं अकेली हूँ, आ जाओ।” मैं फिर से उसके पास गया, और हमने फिर से चुदाई की। सुबह तक हमने कई बार मजे किए। आज भी उससे बात हुई, और उसने कहा, “तुम बहुत सेक्सी हो, यार। तुम्हारा स्टाइल, तुम्हारा लंड, सब कमाल है।” मैंने हंसकर कहा, “बस, तेरा प्यार चाहिए, बेबी।”