चुदाई की कहानियाँ

ट्रक में चुदाई का माहोल बनाया

Chalte truck me ladki ko choda aur maje kiye

हाय दोस्तों,में राजेश. मेने बहोत सी एसी कहानियो की किताबे पढ़ी हे. में और मेरे दोस्त पेट्रिक और जोसफ ऐसे स्टोरीज की किताबे लाते हे जो हिंदी में होती हे और चोरी छुपे ख़राब प्रिंट में बेचीं जाती हे. ये कहानी एसी हे एक किताब से हे. आपको पसंद आएगी.

रीना और अनिल की शादी को दो महिने हुए थे. रीना इसाई थी. उनकी लव मेरेज हुई थी. पर शादी के बाद अनिल का दिल ऑफिस की एक लड़की पर आया हुआ था इसलिए रीना और अनिल में जमती नहीं थी. तो सेक्स का तो सवाल ही नहीं था. वेसे रीना बहोत सेक्सी थी. दिखने में और आर्डिनरी पर बॉडी मानो सेक्स की गॉडनेस हो. एक दम सुडौल भरी हुई.

बूब्स भी धरे बिलकुल शेप में बदन पर जैसे रबर के दो बोल्स. बदन का रंग थोडा सावला. रीना को अपने बदन के बारे में पता था की वो बहोत ही सेक्सी हे. वो हमेशा सलवार कमीज ही पहेनती थी. उसका बदन कोई नंगा देख लेता तो दो चार बार चोद कर ही दम लेता. उनकी ये अन बन अनिल के पेरेंट्स को पता थी. उन्होंने उन दोनों को मध्य परदेस की ट्रिप पैर भेजा. सोंचा जंगल नेचर देख के थोडा बदलाव आएगा.

अनिल बिलकुल तैयार नहीं था. उसकी माल तो ऑफिस में थी. रीना वैसे तो सरीफ और शर्मिले किसम की लड़की थी. अनिल २९ का था तो वो २७ की थी. अनिल पेरेंट्स की खुशी के लिए राजी हो गया. ट्रिप वाले दिन उन्होंने अपनी तैयारी की और कार ले के चल पड़े. रस्ते में छोटी छोटी बातो पर लड़ाइया सुरु हो गई. बाद में उन्होंने अपनी कार छोटी होटल पैर रॉक दी. सामन गाडी में ही था. दोनों ने होटल में खाना खाया और कार के पास आये देखा तो क्या सामान चोरी हो गया था. अनिल को गुस्सा आया होटल में कोई नहीं था. बूढी होटल मालकिन औए दो नौकरों के सिवा. बूढी औरत को उन दोनों पर तरस आया. रीना और अनिल ने उसको सारी बात बताई. वो बोली कोई बात नहीं बेटी मेरे पास कुछ पुराने कपडे हे. कुछ लोग गलती से छोड़ गए थे ये रख लो. काम आएँगे.

दोनों वापस कार में बेठकर चल दिए. बाद में काफी रात होने की वजह से एक लोंज में रुक गए. वहां पर अनिल ने अपनी गर्लफ्रेंड को फोन किया तो पता चला की उसकी शादी की बात हो रही हे. तीन दिनों में कुछ नहीं किया तो गरबड हो जायेगी. अनिल गुस्से से पागल हो गया उसने सुबह को ही वापस जाने का फेसला ले लिया. उसने रीना को भी साफ़ तौर पर इसकी वजह बता दी. रीना को अनिल पर बहोत ही गुस्सा आया पर अनिल का जिद्दी स्वभाव उसे कॉलेज से ही पता था. घर चल कर अनिल के पेरेंट्स संभाल लेंगे ये सोंच कर उसने होटल से घर फोन कर कें उनको सारी बात बता दी. अनिल के पेरेंट्स दुखी हो गए. वो बोले, तुम चिंता मत करो हम सब संभाल लेंगे.

रीना थोड़ी बेखौफ हो गई. रात में अनिल को नींद नहीं आई. एक तो सामान कपडे सब चोरी हो गया था. उपर से ये सब. सुबह को उठते ही उसने ब्रेकफास्ट मंगवाया. उस वक़्त रीना और उसके बिच कहा सुनी हो गई. गुस्से में अनिल ने टिपोई को उदा दिया सारी चाय रीना के ड्रेस पर जा गिरी. अब क्या करे एक तो कपडे नहीं और जो थे वो भी ख़राब कर दिए. रीना मन ही मन में अनिल को गालिया दे रही थी. थोड़ी देर में अनिल का गुस्सा ठंडा हो गया. उसने रीना को बुढिया ने दिए कपडे दे कर और नाह धोकर तैयार रहने को कहा. अनिल नाहा कर आया और रीना नहाने गई. नहाने के बाद रीना ने गठरी खोली. उसने एक पुराने ब्लू कलर की साडी,साया और ब्लाउज था. रीना को साडी पहेनना पसंद नहीं था.

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वो कपडे पहनने लगी तभी उसकी ब्रा टॉयलेट में जा गिरी. लोज की सफाई आप जानते ही हे. रीना ने इतनी गन्दी बाथरूम कभी नहीं देखि थी. बहार से अनिल जल्दी निकल ने के लिए आवाज दे रहा था. मजबूरी में रीना साडी पहनने लगी. ब्लाउज पहनते वक़्त उसे ब्रा का ख़याल आया. वैसे तो उसके बॉल्स तो टाइट और बदन सुडोल था उसे ब्रा की कोई जरुरत भी नहीं थी. उसने ब्लाउज पहना तो वो आर्डिनरी ब्लाउज से छोटा थोडा टाइट भी था. उसने हुक्स लगाया. ब्लाउज टाइट होने के साथ लुवनेक्क और बेकलेस भी था. स्लीवलेस नहीं था. साड़ी भी साइज़ में थोड़ी छोटी थी. रीना ने वो अपनी नावेल के निचे सख्ती से बाँध ली. पल्लू को ऊपर लिया.

वो बहार आई. अनिल कार में उसका इन्तेजार कर रहा था. उसने आने आपको आइनेमे देखा. साड़ी से उसका बदन धुंधला सा दिख रहा था. टाइट ब्लाउज में से उसका क्लीवेज दिख रहा था. डीप नावेल ब्लाउज में से निपल्स साफ़ झलक रहे थे. वो मोड़ गए और अपने बेक साइड को मिरर में देखा बेकलेस ब्लाउज में से नंगी पीठ दिख रही थी नीची साड़ी गांड के ऊपर से टाइटली बाँधी गई थी. चलने पर उसकी चाल एकदम सेक्सी दिखने लगी. रीना का बदन इस कोस्चुम में उभर कर दिख रहा था. रीना निचे आकर कार में बेठ गई. शुक्र था की लोज में सुबह कोई नहीं था. अनिल कार तेज़ भगा रहा था. वो दोपहर को एक सुनसान जगह पर एक ढाबे पर रुक गए. वहाँ कोई नहीं था ढाबे का मालिक और उसका छोटू नोकर. अनिल ने गाडी पार्क की वो स्टेट की बॉर्डर के आस पास कहीं थे. अनिल उतर कर फोन करने के लिए गया.

जहाँ उनकी कार पार्क की हुई थी उधर पास ही कोने में एक ट्रक पार्किंग किया हुआ था उसमे दो लोग थे. अनिल वापस आया तो उसे वो ट्रक दिखा. उसने ट्रक वाले को आवाज दी उसमे से तकरीबन ४८ साल के दो लोग उतरे. वो दोनों भाई थे. बड़े का नाम देवी प्रसाद था बिलकुल शांत और अच्छे स्वभाव का. लोगो की मदद करने में पहला. दुसरे का नाम रणजीत था वो उसका चचेरा भाई था. एक दम घटिया किस्म का बड़े भाई से उल्टा. शराब से शबाब तक सब बुरी आदते थी उसमे. बड़ा महात्मा था तो छोटा सैतान था. बड़े भाई की वजह से उसकी शराब औरत आदते नहीं चलती थी. फिर भी चोरी छोपी वो उसमे लगा रहता था. अनिल ने देवीप्रसाद से पेट्रोल पंप के बारेमे पूछा उसे भी पता नहीं था. अनिल और वो ढाबे वाले से पूछने के लिए वापस गए. इधर रीना कार में अकेली थी. गर्मी का मोसम था. कार का एसी भी ख़राब था. रीना ने उसे कोई न देखे इसलिए शीशे बंद रखे थे.

अन्दर वो गर्मी से जुलस रहीं थी. अनिल भी बहार बाते कर रहा था. रीना थोड़ी देर कार से बहार आई. उसे लगा की उसे ट्रक में से कोई देख रहा हे. उसने देखा तो वो रणजीत था. उम्र करीबन ४७ साल बूढा फिर भी हट्टाकट्टा सकल से डरावना और कमीना सर पर बारीक सफ़ेद बाल, दाढ़ी भी थोड़ी बढ़ी हुई. रीना गर्मी से परेशां हो गई थी. रणजीत उसे लगातार देख रहा था रीना को ये अच्छा नहीं लगा. वो वह अकेली थी. बदन पर साडी और सेक्सी ब्लाउज पहन के. रीना मन में ही उस बुढिया को भी कोस रही थी. रीना को पता था की ये कोस्चुम दुसरे साड़ी ब्लाउज से बिलकुल अलग है जानबुझ कर छोटे किये हुए. अपनी बॉडी दिखने के लिए जैसे कॉलगर्ल होती है. तभी उसका पल्लू गरम हवा के झोंके से उड़ा और पास के नुकीले पौधों में अटक गया.

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वो उसे छुड़ाने की कोशिस करने लगी. वो पसीने से लैब लैब हो चुकी थी. रणजीत को यही चाहिए था. वो उसके सुडौल बदन को खुला देखना चाहता था. अब रीना उसके सामने सेक्सी ब्लाउज में थी. उसका उपरी बदब लगभग खुला ही था. रणजीत उसका पसिनेसे चिकना हुआ बदन दिख रह था. वो बहार आया और थोडा पास आकर खड़ा हो गया. उपर से निचे तक उसे देखने लगा. डीप नावेल खुला पेट बड़े टाइट बूब्स. रीना के निप्पल भी साफ़ जालक रहे थे. रीना ने पीछे मूड कर पल्लू निकाल लिया उसकी नंगी पीठ रणजीत ने देखि. रीना कार में बेठ गई. रणजीत अब कार के पास आकर शीशे से रीना के बूब्स देखकर अपनी जीभ होंठो पर फिराने लगा. इतने में उसका भाई और अनिल आये. उनको देख कर वो वापस ट्रक में बैठ गया. अनिल ने कार चालू की पर वो स्टार्ट नहीं हुई. देवी प्रसाद ने अनिल से कहा, आप चाहे तो में आपको शहर छोड़ देता हूँ.

में भी वहीँ जा रहा हूँ. अनिल को किसी भी हालत में पहुचना था. वो हां बोला देवी प्रसाद अच्छी नियत का आदमी था. रणजीत उसकी नजर में सुधरने ढोंग करते हुए रहता था, देवी को भी उसकी आदत पता थी पर वो उसकी नजरो में अब सुधर गया था. अनिल ने रणजीत पर ध्यान नहीं दिया, सब ट्रक में बेठ गए. देवी प्रसाद के बाजू में अनिल बेठ गया. रीना उनके पीछे बेठ गई. रीना के पीछे ट्रक में जो सोने के लिए जगह होती हे रणजीत उस पर लेटा हुआ था. उसने रीना के पीछे का पर्दा बंद किया और परदे के पीछे जाकर सो गया. शाम को अँधेरा पढने पर रणजीत जाग गया अनिल रीना बैठे बैठे सो रहे थे, देवी प्रसाद ट्रक चला रहा था. रणजीत की तरफ रीना की पीठ थी. ट्रक की केबिन में अँधेरा होनेकी वजह से देवी का ध्यान नहीं गया वैसे भी उसका पूरा ध्यान ट्रक चलाने में था. अनिल गहरी नींद में सो रहा था.

रणजीत ने परदे के कोने से हाथ बहार निकाला और रीना की पीठ को हलके से छुआ रीना जाग गई पर कुछ नहीं बोली. रणजीत के दोनों हाथ हरकत में आ गए वो रीना की नंगी पीठ को सहलाने लगा . रीना को काफी गुस्सा आया पर वो चुप बेठी रही. उसने सोचा की अगर उसने तमाशा किया तो देवी रणजीत को मार ही देगा और देवी के अच्छे स्वभाव के कारण उनको लिफ्ट मिली थी. वो चुप चाप बेठी रही रणजीत के सिर्फ दोनों हाथ परदे बहार थे उसका होसला बढ़ा.

उसने धीरे से दोनों हाथ रीना के आगे पेट पैर सरका दिए. रीना का पल्लू गिर पड़ा, अब वो उसके पेट पर हाथ फेरने लगा. उसकी डीप नावेल को सहलाने के बाद रणजीत रणजीत के हाथ रीना के बूब्स पे आ गये. रीना के जिस्म में इक करंट दौड़ गया. उसने सोंचा अगर अनिल बहार सेक्स कर सकता हे तो में एक बार उसका लुत्फ़ क्यों ना उठाऊ? रणजीत उंगलिया रीना के निप्पल्स पैर गोल गोल घुमाने लगा. रीना पीछे खिसक कर बैठ गई. रणजीत ने परदे का कोना बाजू करके रीना की पीठ को चूमा. रीना के लिए ये एक नया अनुभव था. वो सपने में भी नहीं सोंच सकती थी की एक बूढा इतना सेक्सी हो सकता हे. रीना चुपके से परदे के अन्दर सरक गई.

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अंदर आते ही रणजीत ने उसे लेटा दी और लगा उसका पेट नावेल चूमने. उसने अपनी जीभ नावेल में घुसा दी और चाटने लगा. अब वो उपर आया और रीना के होंठ चूमने लगा. बाद में गाल चूमने गला अब रणजीत रीना के बूब को ब्लाउज के उपर से ही चूमने लगा. रीना गरम हो गई उसने रणजीत की लुंगी की तरफ देखा तो उसका ७ इंच लम्बा कॉक उभर कर बहार आया था. रीना का बदन चखने वाला रणजीत दुनिया का सब से खुस नसीब इंसान था. उसने रीना के ब्लाउज के हुक खोलने चाहे रीना ने विरोध किया. वो बोला सिर्फ एक बार मुझे तुम्हारा दूध पिने दो में वापस तुम्हे तंग नहीं करूंगा. रीना बोली अगर पिने के बाद तुमने मुझे चोदा तो? वो बोला कोई बात नहीं में कंडोम रखता हूँ. अब तुम्हे मुझसे बच्चा नहीं होगा.

रीना ने हाथ हटा लिए रणजीत ने ब्लाउज के हुक्स खोले और उसके काले निपल्स पर टूट पड़ा. वो धीरे धीरे रीना के दोनों बॉल्स चूस रहा था. उसने रीना कपडा उपर करके अपने कॉक उसकी चूत में घुसा दिया. और बूब्स चूसते चूसते वो लंड आगे पीछे करने लगा. रीना को सुरु में तकलीफ हुई पर बाद में मज़ा आने लगा. दोनों ने दो बार पानी मारा. एक घंटे ये सब चलता रहा. बाद में रीना उठी कपडे दोनों ने पहने सुबह के चार बजे थे. ट्रक शहर में आ चुका था अनिल अभी सो रहा था. उसका घर आने में आधा घंटा बाकी था, रीना बहार जाने लगी रणजीत ने उसे वापस पकड़ लिया. और बोला की अब आखरी बार मुझे तुम्हारा दूध पिने दो रीना ने माना अनिल की वजह से मना किया पर रणजीत जिद पर आया.

रीना ने पल्लू उठाकर ब्लाउज के हुक खोले रणजीत फिर से बॉल्स चूसने लगा. रीना ने हाथ से उसका मुह सिने से हटानेकी कोसिस की पर रणजीत ने उसके हाथ पकड़ लिए. उसने रीना का पेट भी चूम लिया, रीना ने ब्लाउज के बटनवापस लगा दिए और आगे आकर बैठ गई. देवी प्रसाद और अनिल को इस बात की खबर भी नहीं थी.

अनिल का घर आने पर रीना ने उसे जगाया. दोनों ट्रक मे से उतर गए. ट्रक निकल गया रणजीत देवी प्रसाद के बाजू में आकर बैठ गया. देवी प्रसाद को मुह पौंछता हुआ रणजीत देखकर कुछ अजीब सा लगा. शराब की महक नहीं आई इसलिए वो चुप रहा.