सोनू दीदी का रिटर्न गिफ्ट – पहली चुदाई का मज़ा
हेलो दोस्तों, मेरा नाम रोहन है। ये मेरी पहली सेक्स कहानी और पहला सेक्स अनुभव है। मैं इस साइट का पुराना पाठक हूँ। मैं मुंबई का रहने वाला हूँ, उम्र 18 साल, हाइट 5.8 फीट, अच्छी हेल्थ, और मेरा लंड 5 इंच का है। मेरा रंग साँवला है, दिखने में एवरेज, लेकिन मेरे फ्रेंडली नेचर की वजह से लोग मुझे पसंद करते हैं। मेरे पड़ोस में सोनू नाम की लड़की रहती है। वो अपने माँ-बाप की इकलौती बेटी है, बड़े प्यार से पली। मुझसे 3 साल बड़ी है, इसलिए मैं उसे दीदी बुलाता हूँ। वो गोरी, हेल्थी, और सुंदर है। अभी वो इंजीनियरिंग कर रही है और होस्टल में रहती है।
जन्मदिन का मौका
ये बात 12 अप्रैल 2015 की है। सोनू का जन्मदिन था। वो घर आई थी। हर साल मैं उसे गिफ्ट देता था, लेकिन इस बार पढ़ाई के दबाव में भूल गया। वो मुझसे मिलने मेरे घर आई। दरवाजा खोलते ही वो मुझसे लिपट गई, ज़ोर से गले लगाया। उसके बूब्स मेरी छाती से दबे, करारे निप्पल महसूस हुए। पहली बार उसने मुझे इतने प्यार से गले लगाया। मैंने उसे अंदर बुलाया। माता-पिता ऑफिस गए थे। उसके बूब्स महसूस करने के बाद मेरी नज़र बदल गई।
सोनू का बदला रूप
मैं बात करते वक्त उसके बूब्स और गांड को देख रहा था। पिछली बार से वो बहुत बदल गई थी – एकदम माल बन गई। उसका फिगर 34-22-36 होगा। उसकी गांड नशीली लग रही थी। गर्मी थी, मैं बरमूडा में था, बनियान नहीं पहनी। वो सफेद स्लीवलेस टॉप और काली केप्री में थी। टाइट कपड़े उसकी सुंदरता बढ़ा रहे थे। वो मेरे साथ खुलकर बात करती थी। उसने पूछा, “मेरा गिफ्ट कहाँ है?” मैंने कहा, “माफ़ करो सोनू दीदी, भूल गया।” वो नकली नाराज़गी दिखाते हुए बोली, “जाओ, बात नहीं करूँगी।”
मैंने कहा, “ऐसा मत कहो। मैं गिटार पर गाना बजाता हूँ।” मैंने “हैप्पी बर्थडे” बजाया। उसकी आँखें भर आईं। “ये मेरा सबसे अनमोल गिफ्ट है,” कहकर उसने मेरे गाल पर किस किया। मुझे अच्छा लगा। मैंने कहा, “तुम्हारी किस मेरा रिटर्न गिफ्ट है।” वो मुस्कुराई और दूसरे गाल पर किस किया। गर्मी बढ़ गई थी। मैंने कहा, “बेडरूम में चलते हैं, AC चलाकर बात करेंगे।”
नज़दीकी बढ़ी
हम बेडरूम में गए। AC चलाया, बेड पर बैठकर बातें शुरू कीं। मैं उसके प्राइवेट पार्ट्स देख रहा था। उसने नोटिस किया। बोल्ड होकर बोली, “छवि को पटाया?” मैं चकित हुआ, “नहीं।” मैंने पूछा, “तुमने?” वो मुस्कुराई। उसने मेरा फोन लिया, “तलाशी लूँगी।” मैंने कहा, “ढूंढ लो।” मुझे भूल गया कि फोन में ब्लू फिल्म्स थीं। उसने देखा, “बच्चा बड़ा हो गया।” मैंने नकली नाराज़गी दिखाई, “कोई मिली नहीं, इसलिए फिल्में देखता हूँ, कभी हिला लेता हूँ।”
वो हँसी, सेक्सी स्माइल दी, “आज से मुझे सोनू बुला।” मैं हैरान हुआ। “तेरे गिफ्ट का रिटर्न गिफ्ट दूँगी,” कहकर उसने AC 18 डिग्री पर सेट किया और मेरे ऊपर बढ़ी। “क्या करने वाली हो?” मैंने पूछा। “वही जो तू चाहता है,” उसने कहा। उसने बरमूडा के ऊपर से मेरा लंड पकड़ा, सहलाया। पहली बार ऐसा एहसास हुआ। वो मेरे ऊपर लेट गई, किस करने लगी। मैंने उसकी जीभ चूसी। 10 मिनट तक हम चाटते रहे। उसने मेरा चेहरा, गला, छाती चाटी।
पहली चुदाई की शुरुआत
उसने मेरा बरमूडा और अंडरवियर उतारा। मैंने उसका टॉप और केप्री फेंक दिया। उसने ब्रा-पैंटी नहीं पहनी थी। उसकी गुलाबी चूत बिना बालों की थी। मेरे लंड पर झाँटें थीं। “12 बजे हैं, पूरा दिन है। पहले शेविंग कर दूँ,” उसने कहा। शेविंग किट से मेरे लंड और गांड के बाल साफ किए। मैं उसके बूब्स पर टूट पड़ा। उन्हें मसला, चाटा। 10 मिनट बाद उसने कहा, “बूब्स के अलावा भी जगह हैं।” “रुक जा, ये मौका अगले साल आएगा,” मैंने कहा।
मैं उसकी चूत पर आया। जीभ अंदर डाली। वो सिसकियाँ लेने लगी, “आह… उफ्फ… रोहन, तू अच्छा चाटता है।” मैं चोदने का नाम नहीं ले रहा था। उसने कहा, “कब तक चाटेगा? मुझे तेरा लंड चूसना है। 69 ट्राई करें।” हम 69 पोजीशन में एक-दूसरे को चाटने लगे। वो माहिर थी। 18 डिग्री में गरम खेल का मज़ा आ रहा था। वो चिल्लाई, “आह… मैं झड़ने वाली हूँ।” हम एक-दूसरे के बाद झड़ गए। हिलाने से बड़ा सुख मिला।
दूसरा राउंड
थोड़ी देर लेटे रहे। मैंने ड्रिंक बनाया। शक्ति लौटी। मैंने उसे बेड पर धकेला। लंड उसकी चूत पर रगड़ा। वो सिसकियाँ लेने लगी। मैंने ज़ोर से धक्का मारा। वो चीखी। मैंने उसका मुँह दबाया। धीरे-धीरे चोदने लगा। “कैसा लग रहा है?” मैंने पूछा। “सही काम हो रहा है, चोदता रह,” उसने कहा। बहुत देर चोदा। उसे कुतिया बनाया, गांड में लंड डाला। दर्द हुआ। “आह… गांड मत मार, चूत मार,” उसने रोते हुए कहा। मैंने उसकी बात मानी।
उसे अपने ऊपर लिटाया, नीचे से चोदा। बेडरूम उसकी सिसकियों से भर गया, “आह… उफ्फ… माँ मरी… रोहन, तू मार डालेगा।” वो फिर झड़ी। मैंने लंड बाहर निकाला। मेरा बाकी था। उसके बाल पकड़े, लंड चुसवाया। गले तक गया। मैं उसके मुँह में झड़ गया। उसने वीर्य पी लिया। हम थक गए। मैंने उसे बाहों में लिया। “रिटर्न गिफ्ट कैसा लगा?” उसने पूछा। “मैंने एक चॉकलेट दी, तूने ढेर सारी दीं,” मैंने कहा। हम हँसे।
अंत और वादा
हमारा बदन पसीने और थूक से चिपचिपा था। शावर लिया। उसने मेरा लंड सहलाया। सूखने के बाद हॉल में बैठे। भूख लगी। चाय-नाश्ता किया। 6 बज गए। माता-पिता आ गए। शाम को होटल में डिनर किया। थकान थी। घर आते वक्त वादा किया कि हर साल उसका जन्मदिन ऐसे मनाएँगे। अब अगले साल का इंतज़ार है।